गणेशजी के यह 3 विलक्षण अमोघ मंत्र
गणेशजी के यह 3 विलक्षण अमोघ मंत्र
भगवान श्री गणेश अप ने हर रूप में प्रसन्नता और खुशियों का वरदान देते हैं। उनकी हर आराधना फलदायक होती है। वह प्रथम पुज्य होने के साथ ही सौभाग्य और मंगल के प्रदाता हैं। आइए जानते हैं उनके 3 ऐसेचमत्कारी मंत्र जो विधिवत करने पर मात्र 11 दिन में जीवनबदल देने की क्षमता रखते हैं।
मंत्र 1 : गणेश गायत्री मंत्र ॐ एकदन्ताय विद्महे वक्रतुंडाय धीमहि तन्नो बुदि्ध प्रचोदयात।।
यहगणेश गायत्री मंत्रहै। इस मंत्र का 11 दिन शांत मन से 108बार जप करने से गणेशजी की विशिष्ट कृपा होती है। गणेश गायत्री मंत्र के जप से व्यक्ति का भाग्य चमक जाता है और हर कार्य अनुकूल सिद्ध होने लगता है।
मंत्र 2 : तांत्रिक गणेश मंत्र
"ॐ ग्लौम गौरी पुत्र, वक्रतुंड,गणपति गुरू गणेश।
ग्लौम गणपति, ऋद्धिपति, सिद्धिपति। मेरे करों दूर क्लेश।।"
11 दिन तक इस मंत्र का 108 बार जाप करने व्यक्ति के जीवन के सारे क्लेश समाप्त होते हैं। धन, धान्य, संपत्ति, समृद्धि, खुशियां, वैभव, पराक्रम, विद्या और शांति की प्राप्ति होती है। लेकिन इस मंत्र के प्रयोग के समय व्यक्ति को पूर्ण सात्विकता रखनी होती है और क्रोध, मांस, मदिरा, परस्त्री संबंधों से दूर रहना होता है।
मंत्र 3 : गणेश कुबेर मंत्र "ॐ नमो गणपतये कुबेर येकद्रिको फट् स्वाहा।" यह मंत्र अपार लक्ष्मी देने वाला है।
गणेशजी की लाल फूलों की माला से पूजा करने के बाद गणेश कुबेर मंत्र का 11 दिन तकनियमित रूप से जाप करने से व्यक्ति को धन के नवीन स्त्रोत मिलना आरंभ होते हैं। जीवन में खुशियां दस्तक देने लगती है।
★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★★
उच्छिष्ट गणपति का मंत्र-----
ॐ हस्ति पिशाचि लिखे स्वाहा
आलस्य, निराशा, कलह, विघ्न दूर करने के लिए विघ्नराज रूप की आराधना का यह मंत्र जपें -
गं क्षिप्रप्रसादनाय नम:
विघ्न को दूर करके धन व आत्मबल की प्राप्ति के लिए हेरम्ब गणपति का मंत्र जपें -
'ॐ गूं नमः'
रोजगार की प्राप्ति व आर्थिक वृद्धि के लिए लक्ष्मी विनायक मंत्र का जप करें-
ॐ श्रीं गं सौभ्याय गणपतये वर वरद सर्वजनं मे वशमानय स्वाहा।
विवाह में आने वाले दोषों को दूर करने वालों को त्रैलोक्य मोहन गणेश मंत्र का जप करने से शीघ्र विवाह व अनुकूल जीवनसाथी की प्राप्ति होती है-
ॐ वक्रतुण्डैक दंष्ट्राय क्लीं ह्रीं श्रीं गं गणपते वर वरद सर्वजनं मे वशमानय स्वाहा।
इन मंत्रों के अतिरिक्त गणपति अथर्वशीर्ष, संकटनाशन गणेश स्तोत्र, गणेशकवच, संतान गणपति स्तोत्र, ऋणहर्ता गणपति स्तोत्र, मयूरेश स्तोत्र, गणेश चालीसा का पाठ करने से गणेशजी की कृपा प्राप्त होती है।
मान्यता है कि विघ्न विनाशक गणेश जी के दर्शन मात्र से प्रत्येक कार्य सिद्ध हो जाता है। इससे घर में पॉजीटिव एनर्जी का संचार होता है व वास्तु दोषों का नाश होता है।
आशा है इस जानकारी को पढ़कर आप इससे अपने वास्तु दोषों का निवारण कर सकेंगे और अपने जीवन को सुखमय एवं शांतिमय से गुजार सकेंगे।
भगवान श्री गणेश अप ने हर रूप में प्रसन्नता और खुशियों का वरदान देते हैं। उनकी हर आराधना फलदायक होती है। वह प्रथम पुज्य होने के साथ ही सौभाग्य और मंगल के प्रदाता हैं। आइए जानते हैं उनके 3 ऐसेचमत्कारी मंत्र जो विधिवत करने पर मात्र 11 दिन में जीवनबदल देने की क्षमता रखते हैं।
मंत्र 1 : गणेश गायत्री मंत्र ॐ एकदन्ताय विद्महे वक्रतुंडाय धीमहि तन्नो बुदि्ध प्रचोदयात।।
यहगणेश गायत्री मंत्रहै। इस मंत्र का 11 दिन शांत मन से 108बार जप करने से गणेशजी की विशिष्ट कृपा होती है। गणेश गायत्री मंत्र के जप से व्यक्ति का भाग्य चमक जाता है और हर कार्य अनुकूल सिद्ध होने लगता है।
मंत्र 2 : तांत्रिक गणेश मंत्र
"ॐ ग्लौम गौरी पुत्र, वक्रतुंड,गणपति गुरू गणेश।
ग्लौम गणपति, ऋद्धिपति, सिद्धिपति। मेरे करों दूर क्लेश।।"
11 दिन तक इस मंत्र का 108 बार जाप करने व्यक्ति के जीवन के सारे क्लेश समाप्त होते हैं। धन, धान्य, संपत्ति, समृद्धि, खुशियां, वैभव, पराक्रम, विद्या और शांति की प्राप्ति होती है। लेकिन इस मंत्र के प्रयोग के समय व्यक्ति को पूर्ण सात्विकता रखनी होती है और क्रोध, मांस, मदिरा, परस्त्री संबंधों से दूर रहना होता है।
मंत्र 3 : गणेश कुबेर मंत्र "ॐ नमो गणपतये कुबेर येकद्रिको फट् स्वाहा।" यह मंत्र अपार लक्ष्मी देने वाला है।
गणेशजी की लाल फूलों की माला से पूजा करने के बाद गणेश कुबेर मंत्र का 11 दिन तकनियमित रूप से जाप करने से व्यक्ति को धन के नवीन स्त्रोत मिलना आरंभ होते हैं। जीवन में खुशियां दस्तक देने लगती है।
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उच्छिष्ट गणपति का मंत्र-----
ॐ हस्ति पिशाचि लिखे स्वाहा
आलस्य, निराशा, कलह, विघ्न दूर करने के लिए विघ्नराज रूप की आराधना का यह मंत्र जपें -
गं क्षिप्रप्रसादनाय नम:
विघ्न को दूर करके धन व आत्मबल की प्राप्ति के लिए हेरम्ब गणपति का मंत्र जपें -
'ॐ गूं नमः'
रोजगार की प्राप्ति व आर्थिक वृद्धि के लिए लक्ष्मी विनायक मंत्र का जप करें-
ॐ श्रीं गं सौभ्याय गणपतये वर वरद सर्वजनं मे वशमानय स्वाहा।
विवाह में आने वाले दोषों को दूर करने वालों को त्रैलोक्य मोहन गणेश मंत्र का जप करने से शीघ्र विवाह व अनुकूल जीवनसाथी की प्राप्ति होती है-
ॐ वक्रतुण्डैक दंष्ट्राय क्लीं ह्रीं श्रीं गं गणपते वर वरद सर्वजनं मे वशमानय स्वाहा।
इन मंत्रों के अतिरिक्त गणपति अथर्वशीर्ष, संकटनाशन गणेश स्तोत्र, गणेशकवच, संतान गणपति स्तोत्र, ऋणहर्ता गणपति स्तोत्र, मयूरेश स्तोत्र, गणेश चालीसा का पाठ करने से गणेशजी की कृपा प्राप्त होती है।
मान्यता है कि विघ्न विनाशक गणेश जी के दर्शन मात्र से प्रत्येक कार्य सिद्ध हो जाता है। इससे घर में पॉजीटिव एनर्जी का संचार होता है व वास्तु दोषों का नाश होता है।
आशा है इस जानकारी को पढ़कर आप इससे अपने वास्तु दोषों का निवारण कर सकेंगे और अपने जीवन को सुखमय एवं शांतिमय से गुजार सकेंगे।
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